लिबास बदला रिश्ते का, है वही पुरानी जां,
ज्यों ज्यों बूढी हो रही, बेटी लगे है माँ।
बड़ा सरल और साफ़ है रिश्तो का आधार,
जितनी मुझसे जरूरते, उतना मुझसे प्यार।
एक ही जीवनकाल में बदले दो किरदार,
जो घर का सरदार था,अब वहीं है पहरेदार।
अपने अपने तौर से दोनों ने जताया प्यार,
माँ ने सुसंस्कार दिए, पीता ने कारोबार।
3 comments:
very nice and true lines...
Very nice and true lines !!!
Thanks Rupali :)
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